Indian Festivals 5 : मेघालय, तमिलनाडु, ओडिशा, लद्दाख और गोवा के मानसून उत्सव
भारतीय संस्कृति में हर ऋतु के साथ विशिष्ट परंपराएं जुड़ी होती हैं। मानसून के दौरान भी, देश के विभिन्न हिस्सों में कई मनमोहक सांस्कृतिक उत्सव आयोजित किए जाते हैं। कुछ उत्सवों में धार्मिक मान्यताएं निहित हैं, जबकि अन्य में प्रकृति के प्रति आभार प्रकट किया जाता है। इन उत्सवों की रंगीन छटा देखते ही बनती है। आइए, इनमें से कुछ प्रमुख उत्सवों पर एक नजर डालें:
बेहदीनखलम उत्सव, मेघालय / Behdienkhlam Festival, Meghalaya
उत्तर-पूर्व भारत के पहाड़ी राज्य मेघालय का बेहदीनखलम उत्सव (Festival) , मानसून के दौरान मनाया जाने वाला एक प्रमुख Festival है। बेहदीनखलम का शाब्दिक अर्थ है “बुरी शक्तियों को भगाना।” इस Festival का उद्देश्य हैजा और अन्य महामारियों से सुरक्षा की कामना करना है। साथ ही, भगवान से समृद्धि और अच्छी फसल के लिए प्रार्थना की जाती है। यह Festival जुलाई के महीने में आयोजित होता है, जिसमें जैंतिया कबीले के निवासियों का पारंपरिक नृत्य देखने योग्य होता है। इस दौरान, विभिन्न प्रकार के स्वादिष्ट व्यंजनों की सुगंध वातावरण को महका देती है। संगीत और खेल की प्रतियोगिताएं Festival में और भी रंग भर देती हैं।
ये भी पढ़े : Bollywood 2024: कमाई में पीछे, लागत में आगे; कल्कि 2898 एडी इस साल की सुपरहिट फिल्म
आदि पेरुक्कू महोत्सव, तमिलनाडु / Aadi Perukku Festival, Tamil Nadu
आदि पेरुक्कू मानसून महोत्सव, मुख्य रूप से तमिलनाडु में मनाया जाने वाला एक प्रमुख Festival है। यह तमिल महीने ‘आदि’ के 18वें दिन मनाया जाता है। इस वर्ष यह Festival 2 अगस्त को मनाया गया। यह महिला केंद्रित उत्सव है, जिसमें पानी के जीवनदायी गुणों के प्रति आभार प्रकट किया जाता है। यह तमिलनाडु के नदियों, घाटियों, झीलों और कुओं के पास मनाया जाता है, जब उनमें पानी का स्तर काफी बढ़ जाता है और मानसून की शुरुआत होती है। महिलाएं इस अवसर पर सजधज कर पानी की पूजा करती हैं।
भगवान जगन्नाथ रथ यात्रा, ओडिशा / Lord Jagannath Rath Yatra, Odisha
ओडिशा के पुरी में आयोजित भगवान जगन्नाथ की भव्य रथ यात्रा, भारत का सबसे प्रसिद्ध मानसून Festival है। इस धार्मिक मान्यता के अनुसार, इस यात्रा में शामिल होने से व्यक्ति के सभी पाप धुल जाते हैं और मोक्ष का मार्ग प्रशस्त होता है। इस यात्रा में भगवान जगन्नाथ अपने बड़े भाई बलभद्र और बहन सुभद्रा के साथ अलग-अलग रथों में सवार होकर गुंडिचा मंदिर जाते हैं। इस Festival में भक्तगण भव्य रथों को खींचते हैं, और यह यात्रा 18 पहियों पर चलने वाले विशाल रथों की मनोरम दृश्यता के लिए जानी जाती है। दुनिया भर से श्रद्धालु इस Festival में शामिल होने के लिए आते हैं।
हेमिस महोत्सव, लद्दाख / Hemis Festival, Ladakh
लद्दाख का हेमिस उत्सव (Festival), मानसून के दौरान आयोजित एक प्रमुख बौद्ध Festival है। यह सबसे प्रतिष्ठित बौद्ध मठ हेमिस गोंपा में मनाया जाता है, जो “लैंड ऑफ हाई पासेस” में स्थित है। इस दो दिवसीय Festival का संबंध गुरु पद्मसंभव के जन्म दिवस से है, जो तिब्बती चंद्र माह के दसवें दिन पड़ता है। यह उत्सव जुलाई के मध्य में आयोजित होता है। इस उत्सव का मुख्य आकर्षण चाम नृत्य है, जो तांत्रिक बौद्ध मत का एक बुनियादी पहलू है। इस Festival में भिक्षु पारंपरिक वेशभूषा, पगड़ी और आभूषण पहनकर नृत्य नाटिका प्रस्तुत करते हैं।
साओ जोआओ उत्सव, गोवा / Sao Joao Festival, Goa
गोवा पूरे साल उत्सव (Festival) के मूड में रहता है, लेकिन मानसून में यहां विशेष रूप से साओ जोआओ Festival मनाया जाता है। यह उत्सव 24 जून को सेंट जॉन द बैप्टिस्ट के सम्मान में मनाया जाता है। इस Festival की विशिष्ट परंपराओं में फूलों के ताज पहनकर पानी में कूदना भी शामिल है। उत्सव के दौरान उपहार, फल, और पेय पदार्थों का आदान-प्रदान किया जाता है। लोग सजधज कर स्थानीय सांस्कृतिक गीत और भजन गाते हैं। इस Festival में गोवा की ग्रामीण सुंदरता निखरकर सामने आती है।